रायपुर । दिल्ली रवाना होने से पहले रायपुर एयरपोर्ट पर पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने एक बार फिर राज्य सरकार को कटघरे में खड़ा किया। उन्होंने छत्तीसगढ़ में चल रहे युक्तियुक्तकरण (रैशनलाइजेशन) को लेकर कहा कि राज्य के स्कूल शिक्षक विहीन हैं, इसलिए सरकार को यह कदम उठाना पड़ रहा है।
भूपेश बघेल ने कहा, “भाजपा ने 57 हजार शिक्षकों की भर्ती की बात कही थी, लेकिन आज तक कोई वेकेंसी तक जारी नहीं की गई। हमारी सरकार ने अपने कार्यकाल में 29 हजार शिक्षकों की नियुक्ति की थी।” उन्होंने सरकार की नीयत पर सवाल उठाते हुए कहा कि भाजपा केवल वादे करती है, जमीन पर कुछ नहीं करती।
“ननकीराम कभी-कभी सच बोल देते हैं”
पूर्व गृह मंत्री ननकीराम कंवर के उस बयान पर भी भूपेश बघेल ने प्रतिक्रिया दी जिसमें कंवर ने कहा था कि भाजपा के कार्यकर्ता खुद को ठगा महसूस कर रहे हैं। इस पर बघेल ने कटाक्ष करते हुए कहा, “ननकीराम कंवर कभी-कभी सच बोल देते हैं। ये बात बिल्कुल सही है कि भाजपा कार्यकर्ता आज निराश और उपेक्षित महसूस कर रहे हैं।”
बस्तर और लोहांडीगुड़ा पर भी बोले बघेल
बस्तर के नक्सलमुक्त होने के दावे पर भूपेश बघेल ने कहा कि, “जगदलपुर और कुछ ब्लॉक्स में पहले भी नक्सल नहीं थे। रमन सरकार के कार्यकाल में जब टाटा को जमीन दी गई, तब लोहांडीगुड़ा में नक्सल प्रभाव शुरू हुआ।” उन्होंने आरोप लगाया कि पिछली सरकार की जनविरोधी नीतियों की वजह से वहां हालात बिगड़े।
गीता पाठ पर भाजपा को घेरा
इंजीनियरिंग कॉलेजों में गीता पढ़ाने की योजना पर भी भूपेश बघेल ने तीखा प्रहार किया। उन्होंने पूछा, “बीजेपी के कितने नेता गीता पढ़ते हैं? इन्हें गीता से मतलब नहीं, सिर्फ राजनीतिक लाभ चाहिए। यह सब वोट बैंक की राजनीति है।”